============================[[गतांक से आगे ]]
हमने अपने पूर्व के लेखों में व्यक्ति ,परिवार ,लोगों को महसूस होने वाले
विभिन्न प्रकार के उर्जाओं /शक्तियों के प्रभाव के बारे में लिखा है |एक लेख में
विभिन्न अनुभवों को समेटना मुश्किल है अतः हम इस क्रम को इस लेख में आगे बढ़ा रहे
हैं |आप देखें इनमे कहीं आप भी तो नहीं ,जिससे आप अपनी समस्या समझ सकें और उसका
उपयुक्त निराकरण कर सकें |इस लेख में हम व्यवसाय /नौकरी पर प्रभाव डालने वाले कुछ
कारकों पर चर्चा करते हैं |
७.आपका व्यवसाय अचानक चलते चलते रुकने लगे ,अनावश्यक हानि होने लगे
,ग्राहक कम होने लगें या ग्राहक तो आयें पर व्यवसाय न हो |अचानक से साझेदारों से
अनबन हो जाए या साझेदार हट जाएँ |अचानक कर्ज देने वालों का दबाव आ जाए |आप कर्ज
समय पर न चूका सकें |घर परिवार में इस तरह की उलझनें शुरू हो जाएँ की आप व्यवसाय
पर पर्याप्त ध्यान न दे पायें |अचानक दुर्घटनाएं अथवा बीमारियों के प्रकोप आने
लगें |अचानक कर्मचारी काम छोड़ दें |समय पर आप डिलीवरी न दे पायें ,जबकि आपके पास
सभी साधन पर्याप्त हैं |दूकान /व्यवसाय में उलझन बढ़ जाए |आपका मन अपने ही व्यवसाय
/दूकान में न लगे |सामने वाला छोटा दुकानदार बढ़ता चला जाए जबकि आपकी स्थिति कमजोर
होती चली जाए |टोने -टोटके आदि से सुधार के उपाय असफल हों |अचानक से चोरी हो जाए
अथवा आग लग जाए |शाम को करीने से लगे सामान सुबह बिखरे मिलें |अचानक धोखा मिले
|मार्केट में या व्यक्तियों के पास पैसे फंस जाएँ |पूँजी फंस जाए |अचानक से पूँजी
डूबने की स्थिति बन जाए |,तो मान लीजिये की सबकुछ सामान्य नहीं है |कुछ तो है जो
समस्या उत्पन्न कर रहा |
८. आपकी नौकरी ठीक ठाक चल
रही है की अचानक छूट जाती है |बार बार नौकरी बदलनी पड़ती है और कुछ कुछ समय के
अंतराल पर नौकरी ढूढनी पड़ती है |अच्छे खासे सरकारी नौकरी में भी आप निलंबित हो
जाते हैं ,आपको विवाद या मुकदमे का सामना करना पड़ता है |कभी कभी बिना गलती के बिना
कारण के यह सब हो जाता है |कभी किसी और की गलती आपके सर आ जाती है |अचानक से आपके
सह कर्मचारी आपसे दूरी बनाने लगते हैं अथवा आपका अधिकारी नाराज रहने लगता है
|नौकरी में अचानक से उलझन शूरू हो जाती है और आपका मन नहीं लगता |आपके पास
पर्याप्त क्षमता है ,योग्यता है और आप पूरी मेहनत भी करते हैं पर आपको पर्याप्त
परिणाम नहीं मिलते |अचानक से परिवार /घर में ऐसी उलझने शुरू हो जाती हैं की आप
अपनी नौकरी पर पर्याप्त ध्यान नहीं दे पाते और परेशानी उठाते हैं |पूरी मेहनत पर
भी आपको अपमान सहना पड़ता है ,आपको आपके काम का श्रेय नहीं मिलता |आपके पास साड़ी
योग्यता है ,क्षमता है पर आपको नौकरी नहीं मिल पा रही जबकि कम योग्यता और क्षमता
वाला बढ़ता जा रहा ,उसे नौकरी मिल भी जा रही और उछे पद पर भी चला जा रहा |यदि ऐसा
कुछ आपके साथ है तो आपको तुरंत किसी विद्वान् ज्योतिषी से भी सम्पर्क करना चाहिए
और किसी अच्छे देवी साधक से भी संपर्क करना चाहिए |
९. आप कोई प्रोजेक्ट शुरू
करते हैं और आपके पास पर्याप्त साधन भी है शुरू करते समय ,पर आपका प्रोजेक्ट पूरा
नहीं हो पाता |बीच में अडचने आ जाती हैं |सहयोगी हट जाते हैं |अनावश्यक हानि अथवा
खर्च होता है |कानूनी दिक्कते आ जाती हैं |फायनेंस करने वाले ही हट जाते हैं |घर
परिवार में परेशानी /उपद्रव शुरू हो जाते हैं |स्वास्थ्य सम्बंधित दिक्कतें शुरू
हो जाती हैं |आपकी पूँजी और मेहनत डूबने लगती है |आप दुकानदार हैं और काफी अच्छी
स्थिति में हैं की अचानक आपकी परेशानी शुरू हो जाती है |आपके आसपास कोई आपका
विरोधी अथवा कम्पीटीटर नहीं है फिर भी आपकी दुकानदारी ठप होने लगती है |आप चाहकर
भी अपनी दूकान नहीं चला पा रहे |आपका व्यवसाय अच्छा खासा चल रहा की कर्मचारी ही
भाग जाते हैं अथवा किसी एक कारण से आपका काम रुक जाता है |यदि ऐसा कुछ है तो आपको
मानना चाहिए की अचानक से आप किसी बुरी ऊर्जा या शक्ति की चपेट में आ गए हैं जो या
तो भेजा गया है या आपके किसी काम से वह आपसे रुष्ट हो आपको प्रभावित कर रहा है
|आपको बेहतर तांत्रिक की मदद लेनी चाहिए |
१०. आपने पूरी मेहनत से
पढ़ाई की ,अच्छे अंक और ग्रेड/डिविजन
भी मिले |आप प्रतियोगी परीक्षा भी पास कर सकते हैं पर आपको नौकरी नहीं मिल पा रही
,जबकि कम योग्यता ,क्षमता वाला नौकरी पा जा रहा |आप नौकरी के लिए पर्याप्त प्रयास
भी नहीं कर पा रहे |कभी खुद की परेशानी आ जा रही तो कभी घर परिवार में परेशानी हो
जा रही |आप आई ए एस की परीक्षा निकालने की क्षमता रखते हैं पर आपकी पारिवारिक
स्थिति कुछ इस स्थिति में हो जाती है की आप नौकरी के लिए प्रयास तक नहीं कर पाते
|आपको जब कभी किसी के सहयोग की जरूरत होती है आपको सहयोग नहीं मिल पाता |जो सहयोग
करने योग्य हैं वह सहयोग नहीं करते और जो चाहते हैं की सहयोग करें वह इस योग्य
नहीं होते |कुलमिलाकर जब आपको सहयोग चाहिए मिल ही नहीं पाता |आपके घर परिवार की
उलझने बढ़ जाती हैं जब कुछ बनना होता है ,वैसे स्थिति सामान्य दिखती है |आपकी
कुंडली और ग्रह योग कहते हैं की आप बड़े अधिकारी बनोगे किन्तु आपको चपरासी की भी
नौकरी नहीं मिल पाती |अब ग्रह क्या करेंगे जब उनके प्रभावों को ही कोई शक्ति
प्रभावित कर दे तो |ऐसा होता है |यदि आपके साथ ऐसा हो रहा है तो आपको किसी अच्छे
जानकार से मदद लेनी चाहिए |यहाँ केवल आपके चाहने से कुछ नहीं होगा क्योंकि यह
समस्या आपके घर परिवार से सम्बंधित है |आपके घर के मुखिया को अपने घर और परिवार का
विश्लेषण किसी अच्छे जानकार से कराना चाहिए |इन स्थितियों के लिए कई कारक
जिम्मेदार हो सकते हैं |
उपरोक्त स्थितियों में से कुछ के कारण ग्रह हो सकते हैं |ग्रहीय स्थितियों
में भी परिवर्तन व्यक्ति को गंभीरता से प्रभावित करता है किन्तु अचानक होने वाले
परिवर्तनों के लिए अक्सर भिन्न शक्तियाँ और उर्जायें हो सकती हैं |क्रम संख्या १०
के लिए जिम्मेदार कई कारक जैसे कुलदेवता /कुलदेवी ,पित्र ,घर में उपस्थित ब्रह्म
/प्रेत आदि भी हो सकते हैं जबकि समग्र परिवार की ग्रह स्थितियां भी इसके लिए
जिम्मेदार हो सकती हैं |किसी ने कुछ कर -करा दिया हो ऐसा भी हो सकता है |क्रम
संख्या ७ और ९ के लिए नकारात्मक उर्जायें जम्मेदार होती हैं जो स्थान ,क्षेत्र से
जुडी हो सकती हैं अथवा कोई भेज सकता है |घर /परिवार या सम्बंधित मकान /दूकान से
जुडी उर्जायें भी इसके कारण हो सकते हैं |क्रम संख्या ८ के लिए किसी द्वारा किया
अभिचार कारण हो सकता है ,ग्रहों की स्थिति में परिवर्तन कारण हो सकता है ,किसी
द्वारा दिया गया श्राप /बद्दुआ कारण हो सकता है ,पारिवारिक दोष तो एक कारण हो ही
सकता है |इन सबका निराकरण तब तक पूर्ण रूप से संभव नहीं हो सकता जब तक की इनका
ज्योतिषीय और तंत्रिकीय दोनों तरह से पूर्ण विश्लेष्ण न किया जाए |इस हेतु दोनों
प्रकार से विश्लेष्ण कराने के बाद एक उपयुक्त पद्धति पर लगातार काम करना चाहिए और
बार बार अलग -अलग टोने /टोटके नहीं आजमाने चाहिए ,क्योंकि इनमे भी ऊर्जा होती है
और कभी कभी आपस में ही टकराकर अन्य उपायों को भी असफल कर देती है
|..................[[अगला अंक -क्या आपके साथ ऐसा हो रहा है - ४ =जमीन /जायदाद
/रियल एस्टेट /विवाद /मुकदमा पर
]]....................................................हर -हर महादेव
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