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टोने -टोटके
के पीछे एक वृहद् विज्ञान काम करता है ,जो प्रकृति और ब्रह्माण्ड की ऊर्जा संरचना
और पदार्थ का विज्ञान है |इनके विशेष नियम होते हैं और विशेष कार्य प्रणाली होती
है |टोटको का प्रभाव निश्चित पड़ता है अगर सही तरीके से कार्य किये जाएँ तो |टोने -टोटके
प्रारब्ध तक बदल डालते हैं |टोनो -टोटकों को करने के कुछ सामान्य नियम होते हैं तो
कुछ विशेष नियम होते हैं |विशेष नियम कार्य विशेष के अनुसार तांत्रिक समझाता है |सामान्य
नियम जो हर टोटकों में पालनीय होते हैं निम्न हैं ----
१. तान्त्रिक-दीक्षा प्राप्त व्यक्ति पर कोई भी तांत्रिक अभिचार या टोटका असर नहीं करता। इन्हें प्रभावित करने के लिए टोना करना पड़ता है ,तब भी प्रभाव की शक्ति
पारस्परिक शक्ति संतुलन पर निर्भर करती है |यहं यह भी कभी होता है की यदि दीक्षा
प्राप्त व्यक्ति अधिक शक्तिशाली हुआ तो करने वाले की क्षति हो जाती है और कम
शक्तिशाली हुआ तो उसकी शक्ति जाती रहती है |
२. टोने-टोटके प्राय: शनिवार, रविवार या मंगलवार को करने का विधान है, किन्तु कुछ टोटके ग्रहण, दीपावली, होली आदि विशेष अवसरों पर भी किये जाते हैं।
३. टोटका-प्रयोग कभी निष्फल नहीं होता तथा इसके लिए किसी गुरु, विद्वान या तांत्रिक से दीक्षा लेने की भी जरूरत नहीं होती।
४. टोटकों में यह विशेष ध्यान रखना चाहिए कि जैसा बताया गया है, वैसा ही करें। सामिग्री या विधि को अपनी बुद्धि से संशोधित करने का प्रयास कदापि नहीं करना चाहिए।
५. टोटके अन-टोके ही करने चाहिए। इसकी चर्चा या इस पर बहस करने से यह बे-असर हो जाते हैं।
६. टोटका शुरू करने से उसके
अंत तक न खुद किसी से बात करनी चाहिए न किसी का जबाब देना चाहिए |
७. शुरू से अंत तक किसी के
द्वारा ,टोकने अथवा सामने थूकने पर टोटकों का प्रभाव कम हो जाता है |
८. टोटका किसी दुसरे की
जानकारी में नहीं आना चाहिए ,अथवा यदि तांत्रिक बताता है तो उस तांत्रिक और करने
वाले के अतिरिक्त तीसरे को नहीं पता होना चाहिए |अन्यथा शक्ति कम हो जाती है अथवा
टोटका असफल हो जाता है ,भले वह तीसरा व्यक्ति माँ-बाप अथवा भाई-बहन-पति-पत्नी ही क्यों न हों |
९.टोटकों में मानसिक शक्ति
,पदार्थ उर्जा ,मुहूर्त उर्जा ,समय ऊर्जा का सामंजस्य होता है ,अतः टोटके के प्रति
कदापि अश्रद्धा नहीं होनी चाहिए ,अपितु हमेशा भावना होनी चाहिए की मै यह कर रहा और
यह होगा |क्योकि मानसिक तरंग से ही टोटकों को निर्देश मिलता है ,अश्रद्धा होते ही
ऊर्जा की दिशा बदल जाती है और टोटका असफल हो जाता है |
१०. टोटके में अगर मंत्र
प्रयोग है तो उसकी शुद्धता और उच्चारण जांच लें |गलती होने पर अलग प्रकार की ऊर्जा
उत्पन्न होगी और नुक्सान अथवा बनता काम बिगड़ जाएगा |
११. किसी भी प्रकार के
टोटके की पद्धति खुद संशोधित करने का प्रयास न करें ,अथवा उसे अपने समय के अनुकूल
करने का प्रयास न करें |विशेष पद्धति विशेष ऊर्जा उत्पन्न करने को बनाई जाती है
,परिवर्तन असफलता देता है |
१२. टोटका करते समय कभी भय
अथवा निराशा की भावना न रखें ,कभी कभी आपके डरने पर टोटका की शक्ति आपका ही अहित
कर सकती है है |
१३. टोटका करके आते समय कभी
पीछे मुड़कर न देखें ,अन्यथा भेजी जा रही शक्ति वापस आ जाती है |
१४. टोटका करके आने पर घर
आकर हाथ मुह धोकर ही किसी से बात करें |
१५. टोटके षट्कर्म के लिए
होते हैं अतः टोटके करने से पूर्व अपनी सुरक्षा की व्यवस्था अवश्य करें |कभी कभी
ऐसा भी होता है की जिस पर आप टोटका कर रहे हैं और उसके ईष्ट या वह शक्तिशाली हुआ
तो आपका किया टोटका दुगना शक्ति से वापस आ सकता है और आपका अहित हो सकता है |..........................................................................हर-हर महादेव
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