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आज के संघर्ष ,द्वेष ,शत्रुता ,कटुता के युग में जीवन जीने की ही जद्दोजहद मुश्किल होती है उस पर अगर अच्छे पडोसी ,सहयोगी ,घर -परिवार वाले लोग न हों तो यह और भी मुश्किल हो जाता है |नौकरी में ,व्यवसाय में ,घर में ,बाहर में ,समाज में सब जगह लोगों क अनुकूलता अच्छे परिणाम ,लाभ और उन्नति देती है जबकि लोगों की अन्यामास्कता अथवा प्रतिकूलता उन्नति रोक देती है ,अशांति उत्पन्न करती है ,अनावश्यक तनाव, चिंता ,कष्ट देती और विपरीत परिणाम मिलते हैं |ऐसे में यदि थोड़ी सी पारलौकिक उर्जायुक्त कोई यन्त्र धारण करने से लाभ हो और लोगों की अनुकूलता मिले तो जीवन सरल हो जाता है |इसके लिए भारतीय ऋषियों ने सकल जन वशीकरण के लिए यन्त्र परिकल्पित किया है |
यह यन्त्र केवल दीपावली की रात्रि में लिखा जाता है |अनार की कलम की लेखनी और अष्टगंध की स्याही से इस यन्त्र को भोजपत्र पर लिखकर धूप -दीप से विधिवत पूजन कर और नैवेद्य आदि चढाकर निम्न मंत्र की ११ माला यानी ११८८ बार जप किया जाता है |
मंत्र
----- ॐ क्लीं ह्रीं श्रीं सर्वजन्य हृदयं माम् वश्यं कुरु कुरु स्वाहा |
इसके बाद यन्त्र को चांदी के कवच में भरकर गले में धारण किया जाता है |सकलजन वशीकरण का यह बेहद प्रभावी यन्त्र और कवच है |और इसका प्रयोग बहुत अच्छा परिणाम देता है लोगों को अनुकूल और प्रभावित करने में |...................................................हर-हर महादेव
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